बुजुर्ग मां बाप की अनदेखी, बदलते परिवेश की सामाजिक विकृति:गरिमा

गणादेश रिपोर्टर
बेतिया:नगर निगम की निवर्त्तमान सभापति गरिमा देवी सिकारिया ने बरवत सेना स्थित शांति-हरि सुघण्य चांद निःशुल्क वृद्धाश्रम का दौरा कर वहां रह रहे बेसहारा और बुजुर्ग महिला पुरुषों के साथ घंटों बिताया। उनके लिए बने भोजन को भी ग्रहण करने के साथ यहां के बुजुर्गों को वस्त्र आदि का उपहार भेंट कर आशीर्वाद प्राप्त किया।
गरिमा ने इस निःशुल्क वृद्धाश्रम के व्यवस्थापक की मुक्त कंठ से प्रशंसा की। इन्होंने यह भी कहा कि आज के बदलते परिवेश के साथ हमारे समाज में भी कुछ विकृतियां जुड़ गयीं हैं। लोग अपने दो या चार बच्चों का पालन कर लेते हैं,लेकिन उनको जन्म देकर वयस्क होने तक पालन व परवरिश करने वाले अपने वृद्ध माता पिता के भरणपोषण, देखभाल के लिए समय और साधन नहीं होता।ऐसी सोच के कारण आज के बहुतायत लोग बुजुर्गों से घृणा करने लगे हैं।जिसके चलते वृद्ध माता पिता ऐसे लोगों के लिए बोझ और समस्या बनने लगे हैं। यहां वे भूल जाते हैं कि उनकी संतानें भी उनके इस व्यवहार और सोच को ग्रहण कर रही है।
गरिमा सिकारिया ने बताया कि रमजान और ईद के त्योहार पर वृद्धाश्रम के कुछेक बुजुर्ग अपने संतानों और पोते पोतियों तक के प्रति भावुक होते दिखे तो मेरा खुद का मन भी द्रवित हो उठा।

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