श्री कृष्ण जन्माष्टमी 19 अगस्त को, कृतिका नक्षत्र और ध्रुव योग को माना जा रहा है शुभ

रांची : राष्ट्रीय सनातन एकता मंच एवं पवित्रम गो सेवा परिवार के प्रांतीय प्रवक्ता सह मीडिया प्रभारी संजय सर्राफ ने कहा है कि इस वर्ष श्री कृष्ण जन्माष्टमी का शुभ मुहूर्त 19 अगस्त को है। इस दिन रात को 01.06 बजे तक अष्टमी मिल रही है। इस दिन रात के 4.58 बजे तक कृतिका नक्षत्र है इसके अलावा ध्रुव योग रात 0 1.07 तक रहेगा। इसी दिन नंदोत्सव भी मनाया जाएगा। 18 अगस्त को रात 12:15 बजे अष्टमी लग रही है। 19 अगस्त को विशुद्ध रूप से अष्टमी मिल रही है। और इस दिन रात को 01.06 बजे तक अष्टमी है। इसी कारण इसी दिन जन्माष्टमी का त्योहार मनाया जा रहा है। क्योंकि भगवान श्री कृष्ण के जन्म के समय अष्टमी तिथि और निशिथ काल मिल रहा है। केवल रोहिणी नक्षत्र नहीं मिल रहा है उसकी जगह कृतिका नक्षत्र और ध्रुव योग मिल रहा है जो शुभ माना जा रहा है। हिंदू धर्म में यह योग बेहद खास है और इस योग में किए गए कार्यों का परिणाम फलदायक होता है मंदिरों में लड्डू गोपाल का पालना सजाया जाता है और उन्हें झूला झुलाया जाता है घरों और मंदिरों में भगवान श्री कृष्ण के बाल रूप की पूजा की जाती है जन्माष्टमी के दिन पूजा-पाठ और व्रत का विशेष महत्व है इस दिन श्रद्धा से उपवास रखने से भक्तों के सभी कष्ट दूर होते हैं तथा श्री कृष्ण की कृपा से मनोकामना पूर्ण होती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार भगवान श्री कृष्ण का जन्म भाद्रपद के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि और रोहिणी नक्षत्र में हुआ था। हिंदू धर्म में कृष्ण जन्माष्टमी का बहुत अधिक महत्व होता है। भगवान श्री कृष्ण के जन्म उत्सव को कृष्ण जन्माष्टमी के नाम से जाना जाता है। श्री कृष्ण जन्माष्टमी का उत्सव बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है इस दिन श्री कृष्ण के बाल रूप लड्डू गोपाल की पूजा अर्चना की जाती है। श्री कृष्ण जन्माष्टमी का पर्व श्री कृष्ण जन्म स्थल द्वारकाधीश, बांके बिहारी मंदिर एवं श्री राम जन्म स्थल में 19 अगस्त को मनाया जाएगा। कुछ स्थानों में 18 अगस्त को भी जन्माष्टमी पर्व मनाया जा रहा है।

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