एआई और ‘मशीन लर्निंग’ के क्षेत्र में दूरगामी प्रगति के साथ भविष्य में बड़े बदलाव होंगे: राष्ट्रपति

रांची: भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू शनिवार को बीआईटी मेसरा के प्लेटिनम जुबली समारोह में बतौर मुख्य अतिथि उपस्थित हुई। इस दौरान विज्ञान प्रदर्शनी का अवलोकन किया। मौके पर राष्ट्रपति ने कहा कि यह इंजीनियरिंग, प्रौद्योगिकी और संबद्ध क्षेत्रों में शिक्षा, अनुसंधान और नवाचार में संस्थान के योगदान का जश्न मनाने और सम्मान करने का एक उपयुक्त अवसर है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि बीआईटी मेसरा भारत में विज्ञान और प्रौद्योगिकी के निरंतर विकास में समृद्ध योगदान देना जारी रखेगा।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि एआई और ‘मशीन लर्निंग’ के क्षेत्र में दूरगामी प्रगति के साथ भविष्य में बड़े बदलाव होंगे। मुर्मू ने कहा कि केंद्र उच्च शिक्षा में एआई को एकीकृत करने के लिए कदम उठा रहा है और यह गर्व की बात है कि रांची स्थित ‘बिरला प्रौद्योगिकी संस्थान’ (बीआईटी), मेसरा 2023 में संबंधित पाठ्यक्रम शुरू कर इस क्षेत्र में अग्रणी है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार उच्च शिक्षा में एआई को एकीकृत करने के लिए कदम उठा रही है।
राष्ट्रपति ने कहा कि प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में पैदा किए जा रहे अवसरों को हाशिए पर पड़े समुदायों को भी उपलब्ध कराया जाना चाहिए और किए जा रहे बड़े परिवर्तन का लाभ सभी को मिलना चाहिए। हालांकि, उन्होंने उद्यमियों को पारंपरिक समुदायों के ज्ञान आधार को नजरअंदाज न करने के लिए आगाह करते हुए कहा कि समस्याओं के समाधान के लिए अकसर बड़े तकनीकी हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं होती।
मुर्मू ने संकाय और छात्रों को बधाई देते हुए कहा कि उन्हें बीआईटी मेसरा की समृद्ध विरासत पर गर्व है जिसने अकादमिक उत्कृष्टता, अनुसंधान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में नवाचार के 70 वर्ष पूरे कर लिए हैं। उन्होंने कहा कि संस्थान अंतरिक्ष इंजीनियरिंग और ‘रॉकेटरी’ में अग्रणी है और इसने कई नए पाठ्यक्रम शुरू किए हैं। उन्होंने कहा, ‘‘युवाओं का उत्साह और प्रतिबद्धता ‘विकसित भारत’ बनाने की कुंजी होगी। 

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