रोमांचक मैच में श्रीलंका को हराकर भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम फाइनल में पहुंची

शेख कमाल अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में नेशनल पैरालंपिक कमिटी ऑफ बांग्लादेश द्वारा फादर ऑफ नेशन शेख मुजीब उर रहमान की 100वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित बंगाबंधु क्रिकेट टूर्नामेंट फॉर फिजिकली चैलेंज्ड मे आज भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम ने अपना दूसरा लीग मैच श्रीलंका के खिलाफ जीत कर फाइनल में प्रवेश किया।

इससे पूर्व बांग्लादेश ने भी श्रीलंका और नेपाल को हराकर पहले ही फाइनल में स्थान बना रखा है।

आज श्रीलंका की दिव्यांग क्रिकेट टीम के कप्तान वीरासिंघे ने टॉस जीता और पहले बल्लेबाजी करने का निर्णय लिया। निर्णय बहुत शानदार रहा। श्रीलंका के प्रारंभिक बल्लेबाजों ने पहले 4 ओवरों में 50 रन जोड़कर शानदार शुरुआत दी, लेकिन भारतीय गेंदबाजी के आगे उनकी रन गति रुकती चली गई। उसके बावजूद श्रीलंका टीम ने 20 ओवर में 164 रन का सशक्त लक्ष्य भारतीय टीम के लिए बना लिया। इसमें सबसे ज्यादा संजीवा के 54, उदारा इंद्रजीत के 41, तनेनदरु 27, उदयाकुमार 12 का प्रमुख योगदान रहा। भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम की तरफ से गुलामदीन और कप्तान कैलाश प्रसाद ने दो-दो और उप कप्तान चिराग गांधी ने एक विकेट लिया तथा एक खिलाड़ी रन आउट हुआ।

जवाब में खेलने उतरी भारतीय टीम की शुरुआत काफी धीमी रही। पहले 5 ओवर में सिर्फ 18 रन बनाए। उसके बाद धीरे-धीरे रन गति बढ़ाना शुरू करी और अंत में 19 ओवर की आखिरी गेंद पर भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम ने यह रोमांचक मैच आठ विकेट से जीत लिया। भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम की इस जीत में एमएस शिवा के सात चौके और चार छक्कों की मदद से 47 गेंदों में बनाए गए नॉटआउट 79 रन आकिब निसार पांच चौकों की मदद से 31 गेंदों में नॉटआउट 47 तथा 24 गेंदों में चार चौकों की मदद से 24 रन सचिन शिवा ने बनाए। श्रीलंका विकलांग क्रिकेट टीम की तरफ से संजीवा तथा उदारा ने एक-एक विकेट लिया। मैच का मैन ऑफ द मैच एमएस शिवा को दिया गया। दिव्यांग क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ऑफ इंडिया के महासचिव हारून रशीद ने बताया भारतीय क्रिकेट टीम का मैच था और फाइनल मैच में पहुंचने के साथ यह सुनिश्चित हो चुका है कि भारतीय दिव्यांग क्रिकेट टीम अब अपना 100वां मैच खेलेगी जो कि एक बड़ी उपलब्धि है।

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