बढ़ने लगी नगर निकाय चुनाव की सुगबुगाहट

शम्भु प्रसाद अभय
गोपालगंज:नगर निकाय चुनाव को लेकर अब प्रसाशनिक महकमे से लेकर राजनीतिक गलियारों में भी सुगबुगाहट बढ़ने लगी है।जिला प्रशासन द्वारा लगातार नए वार्डों के गठन ,सीमांकन व सीमांकन के बाद दर्ज होने वाले आपत्तियों की जांच की प्रक्रिया लगातार पूरी की जा रही है।जिला प्रशासन का यह प्रयास है किसी भी स्थिति में कोई गलत कार्य नहीं हो।सीमांकन व नए वार्डों के गठन के दौरान भी एक एक चीज का भरपूर ख्याल रखा जा रहा है।जिले के बरौली नगर पंचायत में भी सीमांकन का कार्य पूरा कर लिया गया है। उसमें कुछ आपत्ति थी जिसको निपटाने के लिए कल जिला उप निर्वाची पदाधिकारी ने स्थल की जांच की व आवश्यक निर्देश जारी किए।नगर पर्षद के वार्डों के सीमांकन के बाद दावा-आपत्ति के लिए 11 मई को आखिरी दिन था। आखिरी दिन तक कुल छह आपत्तियां दर्ज की गयी। जिनके निपटारे के लिए अधिकारियों द्वारा स्थल जांच की गयी। जिले से पहुंचे जिला उप निर्वाची पदाधिकारी दिनेश लाल मीणा बरौली नगर पर्षद पहुंचे तथा बीडीओ विनोद कुमार के साथ आपत्ति वाली जगहों पर पहुंचकर जांच की। अधिकारियों ने आपत्तिकर्ता को फोन कर स्थल पर बुलाया तथा उनके दर्ज आपत्ति के बारे में जानकारी ली तथा उचित आपत्ति होने पर उसके समाधान की बात कही।
नगर पर्षद में वार्ड सात, 15, 17, 20, 24 और 25 में कुल छह आपत्तियां दर्ज कराई गई थी। गौरतलब है कि नगर पंचायत से नगर पर्षद में अपग्रेड होने के बाद पहले के कुल 21 वार्डों को जनसंख्या के अनुसार सीमांकन किया गया है तथा अब यहां कुल 25 वार्ड बनाए गए हैं। वार्ड के नये सिरे से सीमांकन के बाद 11 मई को दावा और आपत्ति के लिए 11 मई तक का समय निश्चित किया गया था। अंतिम दिन अधिकारियों ने स्थल निरीक्षण कर दावा तथा आपत्ति निराकरण की बात कही। मौके पर अधिकारियों सहित मनोज कुमार, अजय पटेल तथा संबंधित आपत्तिकर्ता मौजूद थे।वहीं
नए परिसीमन में मीरगंज नगर परिषद के पश्चिमी छोर स्थित पीपरा में 4 वार्डों का निर्माण किया गया है।
चुनाव आयोग के निर्देश पर चल रहे पुनर्गठन कार्य के पश्चात मीरगंज नगर परिषद के पुराने वार्डों के क्रमांक मे आमूल चूल परिवर्तन आ गया है। नए परिसीमन के मुताबिक नगर परिषद के पश्चिमी छोर मे स्थित पीपरा में 4 वार्डों का निर्माण किया गया है। वहीं उत्तरी छोर पर स्थित महैचा क्षेत्र से 3 नए वार्डों का निर्माण किया गया है। नवगठित मीरगंज नगर परिषद में वार्ड नंबर 1 का क्रमांक अब 5 हो गया है वहीं वार्ड 2 का क्रमांक 7 हो गया है। इसी तरह वार्ड 3 का क्रमांक 6 हो गया है जबकि वार्ड 4 का क्रमांक बदल कर 23 हो गया है।इसी प्रकार पुराना वार्ड 5 का क्रमांक बदल कर 22 जबकि छह का क्रमांक 16 हो गया है। वार्ड 7 का क्रमांक बदलकर अब 18 हो गया है जबकि वार्ड 8 का क्रमांक अब बदलकर 19 हो गया है इसी तरह वार्ड 9 का क्रमांक 21 हो गया है। वार्ड 10 का क्रमांक बदलकर 20 हो गया है। वार्ड 12 का क्रमांक बदलकर 15 हो गया है वहीं वार्ड संख्या 13 का क्रमांक अब 14 हो गया है। वार्ड 15 का क्रमांक अब 14 हो गया है जबकि वार्ड 16 बदर जिमी का नया क्रमांक 26 हो गया है। नए परिसीमन में राजापुर को वार्ड 24 का नंबर प्रदान किया गया है जबकि नरैनिया को वार्ड 25 का क्रमांक प्रदान किया गया है। उत्तरी सीमा पर शामिल नए महेचा क्षेत्र में वार्ड 10, 11 और 12 का निर्माण किया गया है।सबसे बड़ा वार्ड बना आठ | जनसंख्या को आधार माना जाए तो पुराने तो नए पुनर्गठन के बाद नगर परिषद का वार्ड 8 सबसे बड़ा वार्ड बन जाएगा। जहां की कुल जनसंख्या 2110 है। इसके बाद वार्ड क्रमांक 3 और 25 का स्थान आता है, जिसकी जनसंख्या बराबर है और यहां पर जनसंख्या 2100 है।जबकि वार्ड 22 का जनसंख्या 2091 है। वहीं वार्ड 16 का जनसंख्या 2069 है।
चार वार्डों का बदल गया। सीमा क्षेत्र, पसोपेश में पड़े पुराने दिग्गज वार्ड पार्षद
नए परिसीमन के मुताबिक पुराने वार्ड संख्या 7, 8, 9 और 10 का सीमांकन क्षेत्र बदला गया है। हालांकि इस बदलाव से चुनाव में थोड़ा बहुत ही अंतर पड़ेगा पर पुराने दिग्गज वार्ड पार्षद जो इस क्षेत्र से लंबे समय से अपना चुनावी दबदबा बनाए हुए थे, पशोपेश में पड़ गए हैं। अब उनके लिए फिर नए सिरे से स्थानीय लोगों को अपनी तरफ आकर्षित करने का प्रयास करना पड़ेगा। गौरतलब है कि इन क्षेत्रों से जीते वार्ड पार्षद पुराने नगर पंचायत में अपना अच्छा खासा हैसियत रखते थे और कई बार नगर अध्यक्ष बनने में भी सफलता पाई थी। निकट चुनाव को देखते हुए यहां के भावी प्रत्याशी काफी जोशो खरोश से अभियान में संलग्न दिखाई दे रहे थे पर अब वे अपनी रणनीति पर पुनर्विचार कर रहे हैं।यहां भी प्रशासन द्वारा प्रत्येक विन्दुओ पर लगातार गम्भीरता से विचार करके जांच व कार्य किया जा रहा है ताकि किसी को किसी भी प्रकार भी परेशानी नही रह जाय।
उधर,नगर निकाय के चुनाव की सुगबुगाहट शुरू होते ही सभी संभावित उम्मीदवारों नें अपने अपने इलाके में जनसम्पर्क शुरू कर दिया है।इस बार अध्यक्ष,उपाध्यक्ष का चुनाव भी सीधे मतदाताओं द्वारा होना है इसी कारण अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद के उम्मीदवार भी लगातार दौरा करके इलाके में अपनी पहचान बनाने व लोगों को अपनी ओर आकर्षित करने का कार्य युद्धस्तर पर कर रहे हैं। अधिकांश उम्मीदवारों द्वारा इलाके में पोस्टर फ्लैक्स आदि भी लगाया जा चुका है।जिसके साथ ही इलाके में राजनीतिक सरगर्मी भी काफी बढ़ गयी है।लगभग सभी राजनीतिक दलों द्वारा भी अपरोक्ष रूप से उम्मीदवारों को मैदान में उतारने की पूरी तैयारी कर चुके हैं।हालांकि अभी यह चुनाव दलीय आधार पर होगा कि नही इसकी कोई घोषणा चुनाव आयोग द्वारा नही की जा सकी है। लेकिन लोग भीतर भीतर तैयारी कर रहे हैं।

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