दो दिवसीय खाद्य अनुज्ञप्ति सह जागरूकता कैम्प में 25 खाद्य कार्यकर्ता को दिया गया फुड लाइसेंस

खूंटी: एसीएमओ एवं खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी ने जिला मुख्यालय में आयोजित दो दिवसीय खाद्य अनुज्ञप्ति/ निबंधन सह जागरूकता कैम्प में 25 खाद्य कार्यकर्ता को फुड लाइसेंस दिया गया।
शिविर के दौरान सीएमओ द्वारा सभी खाद्य कारोबारकर्ता को निर्देश दिया गया कि अपने प्रतिष्ठान में साफ सफाई का विशेष ध्यान रखेंगे और ढ़क्कन युक्त कूड़ेदान का प्रयोग करेंगे। सभी खाद्य कारोबारकर्ता जैसे होटल रेस्टोरेंट किराना दुकान, कोल्ड ड्रिंक व अन्य पेस्ट खाद्य पदार्थ पर पैकिंग तिथि, बेस्ट बिफोर तिथि, एफएसएसएआई लाइसेंस, रजिस्ट्रेशन युक्त सामान का ही प्रयोग करेंगे। उन्होंने निर्देषित किया कि खाद्य पदार्थों की वैधता तिथि का भी ध्यान रखेंगे एवं अवधि समाप्त होने पर खाद्य सामग्रियों की बिक्री नहीं करेंगे। स्ट्रीट फुड वेंडर पर बिक्री करने वाले खाद्य सामग्रियों को मार्किन के कपड़ा व जाली से ढ़क कर रखेंगे। अखबार के कागज का प्रयोग नहीं करेंगे। हमेशा सादे पेपर का ही प्रयोग करेंगे। निर्देश दिया गया कि फल विक्रेता फलों को पकाने के लिए कैल्शियम कार्बाइड नमक रासायनिक का प्रयोग ना करें क्योंकि इस रसायन पदार्थ के इस्तेमाल से कैंसर एवं विभिन्न प्रकार की गंभीर बीमारियों होने की संभावना होती है। कहा गया कि फलों को पकाने के लिए एथिलीन, गैस रापेनिंग चैंबर का ही प्रयोग करें। होटल एवं रेस्टोरेंट में उपयोग होने वाले बर्तनों, फ्रिज, पानी टंकी की सफाई नियमित करने का निर्देश दिया गया।
एसीएमओ ने कहा कि होटलों में रासायनिक रंगों का इस्तेमाल लड्डू, जलेबी एवं बूंदी बनाने में किया जाता है। निर्देश दिया गया कि सभी तरह के मिठाई बनाने में केवल खाद्य रंगों का ही प्रयोग किया करेंगे जिसपर फुड लाइसेंस नंबर अंकित हो। उन्होंने कहा कि त्योहारों के मौसम में मिठाइयों की मांग बढ़ जाने के कारण दुकानदार मिठाई में मिलावट कर मिठाई की बिक्री करते हैं जो की एफएसएस एक्ट 2006 के नियमों का उल्लंघन है। त्यौहार में पनीर, खोवा, काजू, बर्फी, रसगुल्ला, लड्डू आदि को बनाते समय शुद्धता एवं गुणवत्ता का ध्यान रखा जाना चाहिए। दुकानदारों को चेतावनी दी गई कि निरीक्षण के दौरान मिठाई का नमूना लिया जाएगा। इस नमूना में में यदि जांच रिपोर्ट फेल पाया जाता है तो एफएसएस एक्ट 2006 के सुसंगत धारा के अनुरूप कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि खाद्य पदार्थ बनाने के लिए उपयोग में लाये जा रहे तेल का प्रयोग तीन बार से अधिक नहीं करना है। बताया गया कि वेज एवं नॉनवेज फूड का भंडारण एक साथ नहीं करेंगे।निरीक्षण के दौरान एफएसएस एक्ट 2006 के नियमों का पालन करते हुए नहीं पाए जाने पर एफएसएस एक्ट 2006 के सुसंगत धाराओं के तहत कार्रवाई की जाएगी।
मौके पर खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी द्वारा बताया गया कि बच्चे जंक फूड खाने से परहेज करें स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है। कहा गया कि बीपी, डायबिटीज, हार्ट अटैक से बचने हेतु मौसमी हरी सब्जी एवं फलों का ज्यादा से ज्यादा मात्रा में प्रयोग करना चाहिए। स्वास्थ्य के लिए कम नमक, कम तेल, कम चीनी का प्रयोग करना लाभप्रद होता है। कहा गया कि चाय विक्रेता चाय की पत्ती का एक बार से ज्यादा प्रयोग ना करें। खाद्य सामग्री के निर्माण में हमेशा स्वच्छ पेयजल का प्रयोग करें। जूस विक्रेता अनार मौसमी आदि फल पहले से काटकर नहीं रखें।

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