महाशिवरात्रि पर्व पर शिव पार्वती के रूप में 11 कन्याओं का पाणिग्रहण संस्कार

रांची: महाशिवरात्रि के पावन पर्व पर विश्व हिंदू परिषद झारखंड के सेवा विभाग व रांची महानगर के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और अन्य प्रांतीय पदाधिकारियों की उपस्थिति में उनके सहयोग से रांची लायंस क्लब ऑफ रांची समर्पण शाखा मोराबादी की ओर से 11 कन्याओं का सामूहिक विवाह कराया गया. महाशिवरात्रि के पर्व पर जैसा कि हिंदू समाज की मान्यता और विश्वास है कि भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह आज ही के दिन संपन्न हुआ था अतः यह बहुत ही शुभ दिन है, इसी को देखते हुए रांची कृषि पदाधिकारी श्री विकास कुमार जी ने अपनी जीवनसंगिनी श्रीमती आरती झा जी को प्रेरित किया और उन्होंने देवी स्वरूपा 11 कन्याओं का विवाह कराने का पुनीत संकल्प लिया था. इस संकल्प को गण्यमान्य नगर वासियों की उपस्थिति में सेवासदन पथ, श्री गणेश साबू चौक स्थित श्री लक्ष्मी नारायण मंदिर परिसर में आयोजित आशीर्वाद सामूहिक विवाह समारोह के अन्तर्गत मूर्धन्य ब्राह्मणों के द्वारा वैदिक रीति से पूरे विधि विधान से संपन्न पाणिग्रहण संस्कार से पूरा किया गया. इस अवसर पर लायंस क्लब ऑफ रांची के श्री सिद्धार्थ मजूमदार उनकी पत्नी शुभ्रा मजूमदार, विनोद गढ़यान जी, राजेश मोर, राजेश चौधरी, संगीत डालमिया, रांची लायंस क्लब ग्रेटर के श्री धर्मेंद्र कुमार  तथा लायंस क्लब ऑफ रांची समर्पण की सदस्यगण, अन्य क्लबों से आए सदस्यों के साथ-साथ रांची विश्व हिंदू परिषद के रांची महानगर के अध्यक्ष श्री कैलाश केसरी, उपाध्यक्ष राजेन्द्र प्रसाद सिंह मुंडा, कल्पना मुंडा, विहिप समरसता मंच के सह प्रांत प्रमुख दीपक कुमार महतो, दुर्गावाहिनि की बबीता वर्मा जी ने अपने आशीर्वचन दिये.
माहेश्वरी सभा रांची के निवर्तमान अध्यक्ष जुगल मारू, शिव शंकर साबू और उपाध्यक्ष गोवर्धन भाला और अन्नपूर्णा सेवा केन्द्र की श्री प्रकाश काबरा ने इस प्रकार के सामाजिक आयोजनों के लिए सदैव भवन व आवश्यक बर्तन, फर्नीचर गद्दे चादर आदि उपलब्ध कराने का वचन देने के साथ महाशिवरात्रि के पवित्रतम शुभ घड़ी पर महेश पार्वती स्वरूपा नव जोड़ियों को हृदय से आशीर्वाद दिया.
इस अवसर पर ताओ इन्टरनेशनल सोयायटी की मलेशिया शाखा के 15 सदस्यीय मलेशिया सिंगापुर की टीम के साथ मास्टर हाओ ने सभी नव दम्पत्तियों को आशीर्वाद दिया और उनके सफल सुखी, सम्पन्न वैवाहिक जीवन की कामना की. उन्होंने बताया कि उन सबके जीवन का यह पहला अवसर है जब वैदिक रीतियों से सम्पादित वैवाहिक कार्यक्रम को देखने का अवसर मिला.
प्रान्त सह-सेवा प्रमुख श्री अशोक कुमार अग्रवाल अग्रवाल ने बताया कि विश्व हिन्दू परिषद् झारखंड के सहयोगी संस्थान बिरसा सेवा न्यास के वर्तमान अध्यक्ष चन्द्रकांत रायपत जी ने बताया कि  लगातार 2016 से अबतक 2500 से अधिक जोड़ियों का सामूहिक विवाह रांची की विभिन्न संस्थाओं के सहयोग से करवाया जा चुका है. अधिकांश जोड़ियां रांची गुमला लोहरदगा सिमडेगा खूंटी जिले से अनुसूचित जनजाति अनुसूचित जाति पिछड़े व साधनों से वंचित परिवारों से आती है. उन्होंने कहा कि यह कोई चैरिटी नहीं है बल्कि हिन्दू समाज के प्रत्येक घटक का यह दायित्व है कि पारम्परिक रूढ़िवादिता, परम्पराओं, आर्थिक अभाव व सामाजिक विरोधाभासें व कुरुतियों के चलते बहुत बड़े वर्ग के लोगों को एकल विवाह समारोह आयोजित करने में कठिनाई होती है अतः सामूहिक विवाह समारोह उनके लिए वरदान बन कर आते हैं.
विवाह के पश्चात सभी वर वधुयों को बिरसा सेवा न्यास की ओर से विवाह प्रमाणपत्र निर्गत किये गये और नशापान आदि से विरत रहने का संकल्प कराया गया. सभी जो दाम्पत्य जीवन की गाड़ी सुचारू रूप से चलाने के लिए लायंस क्लब ऑफ रांची समर्पण शाखा की ओर से आवश्यकताओं के अनुरूप मंगल सूत्र, वधु के आभूषण,वस्त्र, बर्तन, कुर्सी, गद्दे तकिये,छाता,जूते चप्पल वर वधु के परिधान, श्रृंगार सामग्री के साथ साथ तीन-तीन चार-चार जोड़ी कपड़े व अन्य जरूरत की वस्तुएं उपहार स्वरूप दिये गये.
इस विवाह समारोह व वर वधु जोड़ियों का निबन्ध पूरी जांच पड़ताल के बाद श्रीमति गुंजन गुप्ता निदेशिका सृजन हैल्प संस्थान पहाड़ी मंदिर के पीछे इरगू रोड़ कुम्हार टोली रांची द्वारा किया गया जिसके लिए उनके पति संजय कुमार ने पूरा साथ और समय दिया.
सेवा विभाग के मीडिया प्रमुख व प्रवक्ता संजय सर्राफ ने बताया कि सेवा विभाग विश्व हिन्दू परिषद का प्रयास है कि तुलसी विवाह, श्री राम-जानकी विवाह व महाशिवरात्रि शिव-पार्वती विवाह पर हिन्दू समाज आगे आये और फिजूलखर्ची रूढ़िवादी परम्पराओं व कुरुतियों को त्याग कर साधनो से वंचित जोड़ियों का आशीर्वाद सामूहिक विवाह कराया जाए और सारा समाज धार्मिक उत्सवों को प्रतीतात्मक पूजा के साथ-साथ प्रत्यक्ष “नर सेवा नारायण सेवा” के रूप में मानव रुपी साक्षात ईश्वर की सेवा भी करे. व्यक्तिगत उत्सवों जैसे जन्मदिन, स्मृति दिनस, पुण्यतिथि, वैवाहिक वर्षगांठ, रुक्मणी विवाह आदि को सीधे समाज सेवा के रूप में भी मनायें. इसी क्रम में गत 28 नवम्बर 2022 को रांची गौशाला न्यास प्रांगण सुकुरहुट्टु में श्री राम-जानकी विवाह पर 51 जोड़ियों का विवाह कर उन्हें गृहस्थ जीवन में प्रवेश का अवसर दिया और 400 दिव्यांग बच्चों के लिये वात्सल्य उत्सव का आयोजन और 100 दिव्यांगों को सहायक उपस्कर भी वितरित किये गये.

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