अपडेटः आखिर मोमेंटम झारखंड सीडीआइडी जांच के आदेश का राज क्या है?

सीआइडी के पास मैन पावर की भी है कमी

मोमेंटम झारखंड के आयोजन से एक महीने पहले बनी कंपनी से 1500 करोड़ का करार

रांची। आखिर मोमेंटम झारखंड के सीआइडी जांच के आदेश का राज क्या है। इसकी चर्चा सत्ता के गलियारों में हो रही है। पहले सरकार ने इसकी जांच एसीबी से कराने की घोषणा की थी। लेकिन उद्योग विभाग के प्रस्ताव पर सरकार ने इस मामले की जांच सीआइडी से कराने पर सहमति दे दी। उद्योग विभाग ने प्रस्ताव दिया था कि इस मामले की जांच सीआइडी से होनी चाहिए। सत्ता के गलियारों में चर्चा यह है कि इस प्रकरण में निलंबित आइएएस अफसर पूजा सिंघल भी लपेटे में आ जाती। साथ ही कई ब्यूरोक्रटेस भी लपेटे में आ जाते । एक तरफ पूजा सिंघल पर ईडी ने शिकंजा कसा हुआ है। दूसरी तरफ मोमेंटम झारखंड के आयोजन में भी उनकी भूमिका रही थी। सत्ता के गलियारों में चर्चा यह भी है कि सीआइडी जांच से तुरंत रिजल्ट आने वाला नहीं है। मोमेंटम झारखंड को लेकर पंकज यादव ने एसीबी में शिकायत की थी। इसके आधार पर पूर्व सीएम रघुवर दास, तत्कालीन मुख्य सचिव राजबाला वर्मा, तत्कालीन उद्योग निदेशक के रविकुमार, सीएम के तत्कालीन प्रधान सचिव संजय कुमार और तत्कालीन सीएम के सचिव सुनील वर्णवाल के खिलाफ शिकायत की गई थी। बताते चलें कि मोमेंटम झारखंड वर्ष 2017 में हुआ था। इसमें आरोप है कि जिन 11 कंपनियों के साथ करार हुआ था, उसका गठन आयोजन से कुछ माह पहले हुआ। यह स्पष्ट करता है कि सिर्फ मोमेंटम झारखंड का लाभ लेने के उद्देश्य से ही इन कंपनियों को बनाया गया। मोमेंटम झारखंड में कुल 238 एमओयू हुए थे, इनमें से 13 एमओयू विदेशी कंपनियों, 74 एमओयू झारखंड की कंपनियों और शेष एमओयू अन्य राज्यों की कंपनियों से हुए। केवल 25 एमओयू में 22 कंपनियों को 350 एकड़ जमीन आवंटित की गई।
बड़ा सवाल सीआइडी कैसे करेगी जांच
चर्चा यह भी है कि सीआइडी इतने बड़ो घोटाले की जांच कैसे करेगी, मैनपावर की कमी सीआइडी झेल रहा है। सीआइडी में एसपी के चार पद में से तीन पद खाली है। आइजी के दोनों पर खाली पड़े हैं। डीआइडी के पास सीआइडी के साथ दो अतिरिक्त प्रभार भी है।
मोमेंटम झारखंड के आयोजन से एक महीने पहले बनी कंपनी से 1500 करोड़ का करार
तत्कालीन रघुवर सरकार ने मोमेंटम झारखंड के आयोजन से ठीक एक महीने पहले बनी ओरियंट क्राफ्ट कंपनी के साथ 1500 करोड़ रुपए का करार किया गया। कंपनी को इंडस्ट्रीयल पार्क के लिए खेलगांव में 28 एकड़ और दूसरे पार्क के लिए इरबा में 113 एकड़ जमीन दी गई। कंपनी ने 50 हजार लोगों को रोजगार देने का वादा किया। वहीं मोमेंटम झारखंड के दौरान तीन ऐसी कंपनियां थीं जिनकी कुल पूंजी तीन लाख रुपए तक ही थी, जिसके साथ तत्कालीन सरकार ने 2800 करोड़ रुपए का करार कर लिया। इन कंपनियों में ओफ्रोबायस, पीजेपी सिनेमास और ओरियंटक्रफ्ट शामिल है। पीजीपी सिनेमास के साथ नगर विकास विभाग का और ओरियंट क्रफ्ट का उद्योग विभाग के साथ करार हुआ था

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