मुरहू प्रखंड की ओलिप बादू रेशम परियोजना की मदद से वैज्ञानिक तकनीक से तसर की कर रही है खेती

खूंटी: मुरहू प्रखंड के रुमूतकेल गांव की ओलिप बादू एक गरीब परिवार में रहकर भी आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ने वाली महिला हैं। इनके जीवन यापन का मुख्य श्रोत खेती जैसे – धान ,मडुवा, मक्का आदि और पशु पालन था। समूह में जुड़ने से पहले इनकी घर का स्थिति ठीक नही थी। समूह में जुड़ने के बाद ऋण व योजनाओं से लाभ लेकर उन्होंने रोजगार के गतिविधियों की जानकारी ली।
jslps की दीदियों के द्वारा महिला किसान सशक्तिकरण परियोजना एवं रेशम परियोजना से जुड़ी जानकारियां प्रशिक्षण के माध्यम से उपलब्ध कराई गई। साथ ही समूह की 35 दीदियों के साथ एक तसर उत्पादक समूह का गठन किया गया।
गाँव में ही उन्हें रेशम खेती का प्रशिक्षण भी मिला, प्रशिक्षण के बाद क्षेत्रीय भ्रमण कराते हुए दीदियों को तसर खेती की पूर्ण जानकारी मिली।
दीदियों ने 100 DFL लेकर CSR खेती शुरू की एवं उन्हें JSLPS- महिला किसान सशक्तिकरण परियोजना की ओर से चुना , ब्लीचिंग , जीवन सुधा , सोडियम हाइपोक्लोराइड, सिकेचेर, स्प्रे मशीन मिला। जिससे खेती में उन्हें सहयोग मिला उन्होंने पहली बार मै खेती की , मुझे करीब 4530 रुपये का मुनाफा हुआ। इस खेती में हुए मुनाफे को देख कर 2020 में BSR और CSR दोनों की खेती की जिससे उनकी आय वृद्धि हुई। इसमें उत्पादक समूह से भी फसल के व्यापार में सहयोग किया जाता है।
दीदी बताती हैं कि हम लगातार तसर खेती कर रहे हैं , JSLPS के माध्यम से रेशम परियोजना से जुड़ कर हमारी आय वृद्धि हो रही है।

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