खादी राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के सिद्धांतों का एक जीवंत प्रतीक है: राज्याल
राष्ट्रीय खादी एवं सरस महोत्सव का समापन
रांची: मोरहाबादी मैदान में चल रहे राष्ट्रीय खादी एवं सरस महोत्सव का मंगलवार को समापन हो गया। समापन कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने कार्यक्रम का उद्घाटन किया। उनके साथ श्रम नियोजन प्रशिक्षण एवं उद्योग मंत्री संजय प्रसाद यादव,राज्यसभा सांसद महुआ माजी,भाजपा विधायक सीपी सिंह,उधोग विभाग के सचिव जितेंद्र सिंह,खादी बोर्ड के सुमन पाठक सहित कई अतिथि उपस्थित हुए।
मौके पर राज्यपाल ने कहा कि खादी राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के सिद्धांतों का एक जीवंत प्रतीक है। यह एक केवल कपड़ा नहीं बल्कि आत्मनिर्भरता और श्रमजी करने का प्रतीक है। खादी स्वतंत्रता संग्राम का भी प्रतीक है। हम सब इससे प्रतीत हैं और आज यह भारतीय श्रमिकों को रोजगार देने के साथ साथ भारतीय संस्कृति और आत्मनिर्भरता को मजबूत करने की दिशा में काम करता है।
राज्यपाल ने कहा कि पीएम मोदी ने खादी को एक नई पहचान देने का काम किया है। जब से उन्होंने पीएम के रूप पदभार संभाला है तब से खादी को बढ़ावा देने के लिए विशेष फोकस किया गया है।
उन्होंने कहा कि खादी को आज युवा भी पसंद कर रहे हैं। खादी को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार भी लगातार काम कर रही है।
वहीं श्रम नियोजन प्रशिक्षण एवम उधोग मंत्री संजय प्रसाद यादव ने कहा कि खादी को बढ़ावा देने के लिए सभी को मिलजुल कर काम करना होगा। इस उधोग से सभी को जोड़ना होगा।
उन्होंने कहा कि खादी बोर्ड को बेहतर से बेहतर कैसे किया जायेगा इसपर राज्य सरकार विचार कर रही है। खादी मेला सिर्फ रांची में ही नहीं अलग अलग जिले में भी खादी मेला लगे यह हमलोग प्लान कर रहे हैं। इससे स्थानीय युवाओं को जोड़ा जा सकेगा।
मंत्री ने कहा कि स्थानीय हस्तकरघा और शिल्प उधोग को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार हर संभव प्रयास करेगी। साथ ही यहां के उत्पादों को इंटरनेशनल मार्केट मिले इसपर भी काम किया जायेगा।
कार्यक्रम में उधोग विभाग के सचिव ने संबोधित करते हुए कहा कि यह महोत्सव 2004 में शुरू हुआ था। बाद में इसे विस्तार किया गया। यह ग्रामीण विकास विभाग का साथ मिला और इसे सरस मेला नाम दिया गया।। इस मेले में देश के अलग राज्यों से शिल्पी आए।
उन्होंने कहा कि मेले में विभिन्न विभागों के अलग अलग स्टील लगाए गए। दीदी सखियों को निशुल्क स्टॉल दिए गए। बच्चों ने भी सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया। 50 लाख की बिक्री सिर्फ खादी में हुआ है। कुल मिलाकर मेला में15 करोड़ की बिक्री हुई है।
वहीं बीजेपी विधायक सीपी सिंह ने कहा कि मेला में 15 करोड़ रुपए की बिक्री हुई है। खादी स्वदेशी का प्रतीक है। इसमें करोड़ों लोगों को रोजगार मिलता है। पीएम मोदी इसे बढ़ावा देने के लिए अथक प्रयास कर रहे हैं। झारखंड के ब्रांड की सामग्रियों को और बेहतर करने की जरूरत है।
राज्यसभा सांसद महुआ माजी ने कहा कि मेला अब भव्य रूप लेता जा रहा है। झारखंड में रोजगार की सबसे बड़ी समस्या होती थी। यहां पर ट्रैफिकिंग की शिकार यहां की बहन बेटी होती थी। यह पलाश ब्रांड उन्हीं दीदी और बहनों के लिए है।उनको इसमें जोड़ा गया है। खादी में अब क्रांतिकारीबदलाव आया है। युवा भी अब पसंद कर रहे हैं।
वहीं मेला में बेहतर प्रदर्शन करने वाले शिल्पी दुकानदारों को राज्यपाल और मंत्री के द्वारा सम्मानित किया गया।