पहलगाम आतंकी हमले पर बोले झामुमो महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य,यह संयोग नहीं प्रयोग है: झामुमो
केवल पानी से नहीं अब आतंकवाद को रोकना होगा,देश के गद्दारों को ढूंढना होगा
रांची: पहलगाम आतंकी हमले की झारखंड मुक्ति मोर्चा ने निंदा की है। साथ ही यह भी कहा कि भारत सरकार को सिर्फ पानी से नहीं आतंकवाद को रोकना होगा। आतंकवाद के खिलाफ पूरा देश खड़ा है। गुरुवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित पत्रकारवार्ता में पार्टी के केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य संबोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि पहलगाम में आतंकी हमला संयोग नहीं यह प्रयोग है। जब जब देश में किसी भी तरह के संवेदनशील मुद्दे सामने आते हैं तब तब उन उन मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए और विदेश के कोई डिग्नेट्री आते हैं, उस पर से ध्यान हटाने के लिए इस प्रकार की घटनाएं हो जाती है। इसलिए यह अब एक संयोग नहीं रहा।
उन्होंने कहा कि हमलोगों ने पुलवामा में भी देखा था। कितनी बसें चल रही थी। उसमे बीच में एक बस जो बुलेटप्रूफ नहीं थी और उसी बस को आरडीएक्स के द्वारा एटैक किया गया। जीप आकर उसी में टकराई और42 जवान शहीद हो गए। मंगलवार को पहलगाम में उस वक्त हमला होता है जब देश कई संवेदनशील मुद्दों पर चर्चा कर रहा होता है,और उसको उसी प्रकार से पॉपुलर किया जाता है। हम किस बात का इंतजार करते हैं। हमको लगता है कि किसी राजनीतिक दल का धरना भी होता है तो संबंधित थाना क्षेत्र का सुरक्षा बल रहता है। इतने बड़े,जब पीक सीजन है कश्मीर सीजन का, उस वक्त वहां पर कोई सुरक्षा कर्मी नहीं रहता है।
श्री भट्टाचार्य ने कहा कि दस दिन पहले देश के गृहमंत्री वहां पर तीन दिन रह कर आते हैं। रोज खबरे छपती है की सुरक्षा व्यवथा का जायजा ले रहे हैं। तीन तारीख को उसी पहलगाम में अमरनाथ यात्रा शुरू होगा। वहां पर इस प्रकार का एटैक हो जाता है। वहां हजारों पर्यटक पहुंच रहे हैं,वहां के हसीन वादियों का मजा ले रहे हैं। सुरक्षा का कोई इंतजाम नहीं है।
उन्होंने कहा की पहलगाम आतंकी घटना के 48घंटे बीत जाने के बाद भी दोषी अबतक पुलिस की गिरफ्त से बाहर है।
कोई आता है और चला जाता है।
सिर्फ पानी रोकने से नहीं होगा,अब आतंकवाद को कारगर ढंग से रोकना होगा। पूरा देश आज भारत सरकार के साथ खड़ा है।
कश्मीर भारत का जन्नत है। वहां पर लाखों सैलानी जाते हैं। अथिति में कोई हिंदू मुसलमान नहीं होता है। वहां पर घोड़ा और खच्चर पर पर्यटकों को वहां का स्थानीय मुसलमान ही बैठा कर घुमाता है। अमरनाथ यात्रा में भी वही होता है।
डल झील का हर शिकारा मुसलमान होता है। इसलिए हिंदुस्तान का जो बॉन्डिंग है उसे कोई तोड़ नहीं पाता है। और यही इरादा हमारे दुश्मन देश का है। 1971 में एक सबक सिखाया अब फिर से सबक सिखाने की बारी है।
श्री भट्टाचार्य ने कहा कि कोई देश का जेनरल कहता है धर्म की बात यहां का सांसद कहता है,क्या फर्क रह जाता है दोनो में। यह साधारण बातें नहीं है। कहां गए सब आतंकी। सिर्फ चार आदमी का फोटो आया। देश का वह गद्दार कौन है जो उसे उस जगह तक पहुंचाया।
उन्होंने कहा कि पुलवामा के समय में भी हम लोगों ने देखा था,कई अखबारों ने लिखा था,कोई एक डीएसपी था। आज तक उस डीएसपी का पता नहीं चल पाया। उस गद्दार का पता नहीं चला,क्योंकि उस गद्दार का भी कही न कहीं संरक्षक बैठा हुआ है। यहां पर भी आतंकी को पहुंचाने वाला कोई न कोई गद्दार होगा। जबतक हम गद्दार को चिन्हित नहीं करेंगे तबतक हम आतंकवाद का सफाया नहीं कर सकते हैं। इसलिए पहले देश के गद्दारों का सफाया करना होगा,समाज के गद्दारों का सफाया करना है,हिंदुस्तान के अमन चैन को बर्बाद करने वालों को पहचान करने की जरूरत है।
केंद्र सरकार को इस गर्मी में पर्यटन स्थल में सुरक्षा का पुख्ता इंतजाम करना चाहिए। जम्मू कश्मीर में इस तरह के आतंकी हमले से वहां का पर्यटन उद्योग बर्बाद हो गया। जम्मू कश्मीर की अर्थ व्यवस्था बीस साल पीछे चली गई। कौन देगा इसका जवाब,केवल बोलने से नहीं होगा,जिम्मेवारी तय करना होगा। देश के गृह मंत्री अमित शाह को जवाब देना होगा।
उन्होंने कहा कि अब अमरनाथ यात्रा है। इसको सफल करने के लिए केंद्र सरकार को सुरक्षा का पुख्ता इंतजाम करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि 1971में भी भारत और पाकिस्तान के साथ युद्ध हुआ था। वहीं स्थिति उत्पन्न वर्तमान समय में हो गई है।
वर्तमान समय में देश में कई संवेदनशील मुद्दे पर चर्चा हो रही है।

