17 मई बुधवार का राशिफल एवम पंचांग
मेष:व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। प्रयास सफल रहेंगे। धनलाभ के अवसर हाथ आएंगे। सामाजिक कार्य करने में रुचि रहेगी। मान-सम्मान मिलेगा। निवेश शुभ रहेगा। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। पार्टनरों का सहयोग मिलेगा। कार्यसिद्धि होगी। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। बेवजह बेचैनी रह सकती है लेकिन वास्तव में ऐसा कुछ भी नहीं है जिससे बेचैनी हो। स्वास्थ्य का ध्यान रखें।
वृष:यात्रा मनोरंजक रहेगी। स्वादिष्ट भोजन का आनंद प्राप्त होगा। विद्यार्थी वर्ग सफलता प्राप्त करेगा। कारोबार में वृद्धि के योग हैं। व्यस्तता के चलते स्वास्थ्य प्रभावित होगा। धन प्राप्ति सुगम होगी। मित्रों का सहयोग समय पर प्राप्त होगा। रुके कार्यों में गति आएगी। प्रसन्नता रहेगी। जोखिम न उठाएं। आनन्द से दिनचर्या व्यतीत करें। स्वास्थ्य का ध्यान रखें।
मिथुन:आय होगी। व्यवसाय ठीक चलेगा। जल्दबाजी किसी समस्या का हल नहीं है इसलिए न करें। दूर से कोई समाचार मिल सकता है। वाणी पर नियंत्रण रखें ताकि बेवजह कहासुनी न हो। थकान व कमजोरी रह सकती है आराम करे़ं। स्वास्थ्य पर खर्च होगा। नौकरी में दिनचर्या व्यस्त रह सकती है । आध्यात्मिक ज्ञान की तरफ रूची बनेगी। स्वास्थ्य लाभ होगा।
कर्क:कानूनी अड़चन दूर होकर लाभ की स्थिति बनेगी। थकान व कमजोरी रह सकती है। जीवनसाथी से सहयोग प्राप्त होगा। व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेगा। निवेश में जल्दबाजी न करें। नौकरी में शांति रहेगी। धन प्राप्ति सुगम होगी। मित्रों का सहयोग रहेगा। कार्य समय पर पूर्ण होंगे। स्वास्थ्य सही रहेगा।
सिंह:व्यवसाय ठीक चलेगा। धन लाभ के योग है । पुराना रोग उभर सकता है। दूर से कोई समाचार मिल सकता है। व्यर्थ की भागदौड़ से बचें । किसी व्यक्ति के व्यवहार से अप्रसन्नता मत आने दें। अपेक्षित कार्य विलंब से होंगे। प्रयास अधिक करना पड़ सकता है। किसी व्यक्ति विशेष की नाराजगी न करें। मनोरंजन के योग हैं।
कन्या:नौकरी में प्रभाव बढ़ेगा। आय में वृद्धि होगी। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेगे। जल्दबाजी से बचें खासकर लेन-देन में जल्दबाजी न करें। कोई समस्या खड़ी हो सकती है। भूमि व भवन इत्यादि की खरीद-फरोख्त की योजना बनेगी। प्रमाद न करें। स्वास्थ्य लाभ होगा ।
तुला:बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे। यात्रा लाभदायक रहेगी। व्यापार मनोनुकूल चलेगा। नौकरी में चैन रहेगा। धनहानि से बचें व सावधानी रखें। किसी व्यक्ति के व्यवहार से स्वाभिमान को ठेस पहुंच सकती है। जीवनसाथी के स्वास्थ्य की चिंता रहेगी। शत्रु शांत रहेंगे। स्वास्थ्य सामान्य रहेगा।
वृश्चिक:अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। वाणी में हल्के शब्दों के प्रयोग करने से बचें। परिवार के किसी सदस्य के स्वास्थ्य की चिंता रहेगी। पुराना रोग उभर सकता है। लेन-देन में सावधानी रखें। किसी भी व्यक्ति की चिकनी बातों में न आएं। महत्वपूर्ण निर्णय सोच-समझकर करें, लाभ होगा।
धनु:व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेगा। निवेश मनोनुकूल लाभ देगा। परीक्षा व साक्षात्कार आदि में सफलता प्राप्त होगी। भाग्य का साथ मिलेगा। प्रसन्नता रहेगी। शत्रु सक्रिय रहेंगे लेकिन हानी नहीं पहुंचा पाएंगे। शारीरिक कष्ट से बचें । दूसरों के कार्य में हस्तक्षेप कम ही करें। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। अप्रत्याशित लाभ हो सकता है।
मकर:धन प्राप्ति सुगम तरीके से होगी। नई योजना बनेगी। तत्काल लाभ नहीं होगा। कार्यप्रणाली में सुधार होगा। सामाजिक कार्य करने में रुझान रहेगा। मान-सम्मान मिलेगा। शेयर मार्केट व म्युचुअल फंड इत्यादि से मनोनुकूल लाभ होगा। कष्ट, तनाव व चिंता का वातावरण बन सकता है। शत्रु पस्त होंगे।
कुंभ:पूजा-पाठ में मन लगेगा। किसी साधु-संत का आशीवार्द मिल सकता है। कोर्ट व कचहरी के कार्य मनोनुकूल रहेंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेंगे। नौकरी में प्रभाव वृद्धि होगी। मातहतों का सहयोग प्राप्त होगा। लंबित कार्य पूर्ण होंगे। प्रमाद न करें।
मीन:आज आपका समय मिला जुला रहेगा । घर में अतिथियों का आगमन होगा और धन व्यय भी होगा। दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे। व्यापार-व्यवसाय ठीक चलेगा। नौकरी में संतोष रहेगा। निवेश शुभ रहेगा। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। विवाद से क्लेश से बचें । पुराना रोग उभर सकता है। परिवार की चिंता रहेगी। जल्दबाजी न करें।
🌞ll ~ वैदिक पंचांग ~ll🌞
🌤️ दिनांक – 17 मई 2023
🌤️ दिन – बुधवार
🌤️ विक्रम संवत – 2080
🌤️ शक संवत -1945
🌤️ अयन – उत्तरायण
🌤️ ऋतु – ग्रीष्म ॠतु
🌤️ मास – ज्येष्ठ
🌤️ पक्ष – कृष्ण
🌤️ तिथि – त्रयोदशी रात्रि 10:28 तक तत्पश्चात चतुर्दशी
🌤️ नक्षत्र – रेवती सुबह 07:39 तक तत्पश्चात अश्विनी
🌤️योग – आयुष्मान रात्रि 09:18 तक तत्पश्चात सौभाग्य
🌤️ राहुकाल – दोपहर 12:35 से दोपहर 02:14 तक
🌞 सूर्योदय-05:14
🌤️ सूर्यास्त- 06:20
👉 दिशाशूल- उत्तर दिशा में
🚩 व्रत पर्व विवरण – प्रदोष व्रत, मासिक शिवरात्रि
🔥 विशेष – त्रयोदशी को बैंगन खाने से पुत्र का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
मोरपंख का यह उपाय करने पर हर कार्य बनेंगे⤵️
🌷 शनि जयंती 🌷
🙏🏻 शास्त्रों के अनुसार शनि देवजी का जन्म ज्येष्ठ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या को रात के समय हुआ था।
➡ इस बार शनि जयंती 19 मई 2023 शुक्रवार को पड़ रही है।
🌞 सुबह जल्दी स्नान आदि से निवृत्त होकर सबसे पहले अपने इष्टदेव, गुरु और माता-पिता का आशीर्वाद लें।
➡ पूजा क्रम शुरू करते हुए सबसे पहले शनिदेव के इष्ट भगवान शिव का ‘ऊँ नम: शिवाय’ बोलते हुए गंगाजल, कच्चा दूध तथा काले तिल से अभिषेक करें। अगर घर में पारद शिवलिंग है तो उनका अभिषेक करें अन्यथा शिव मंदिर जाकर अभिषेक करें। भांग, धतूरा एवं हो सके तो 108 आंकडे के फूल जरूर चढ़ाएं। द्वादश ज्योतिर्लिंग के नाम को उच्चारण करें।
🙏🏻 सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम्।
उज्जयिन्यां महाकालमोंकारं ममलेश्वरम् ॥1॥
परल्यां वैजनाथं च डाकियन्यां भीमशंकरम्।
सेतुबन्धे तु रामेशं नागेशं दारुकावने ॥2॥
वारणस्यां तु विश्वेशं त्र्यम्बकं गौतमी तटे।
हिमालये तु केदारं ध्रुष्णेशं च शिवालये ॥3॥
एतानि ज्योतिर्लिंगानि सायं प्रातः पठेन्नरः।
सप्तजन्मकृतं पापं स्मरेण विनश्यति ॥4॥
🙏🏻 अब शनिदेव की पूजा शुरू करते हुए सर्वप्रथम शनिदेव का सरसों के तेल से अभिषेक करें।
🌷 “ऊँ शं शनैश्चराय नम:” का निरंतर जप करते रहें ।
🔥 सरसों के तेल का दीपक प्रज्वलित करें तथा कस्तूरी अथवा चन्दन की धूप अर्पित करें ।
🌷 शनि के वैदिक मंत्र का उच्चारण करें 🌷
नीलांजन समाभासं रविपुत्रं यमाग्रजम्
छायामार्तण्ड संभूतम् तम नमामि शनैश्चरम्॥”
🌷 अब स्त्रोत्र का पाठ करें 🌷
नमस्ते कोण संस्थाय पिंगलाय नमोऽस्तुते।
नमस्ते बभ्रुरुपाय कृष्णाय नमोऽस्तुते॥
नमस्ते रौद्रदेहाय नमस्ते चांतकायच।
नमस्ते यमसंज्ञाय नमस्ते सौरये विभो॥
नमस्ते मंदसंज्ञाय शनैश्चर नमोऽस्तुते।
प्रसादं कुरू देवेश दीनस्य प्रणतस्य च॥
🔥 शाम को पीपल के वृक्ष के नीचे तिल के तेल के दीपक को प्रज्जवलित करें। शनिदेव से प्रार्थना करें कि सभी समस्याएं दूर हों और बुरे समय से पीछा छूट जाए। इसके बाद पीपल की सात परिक्रमा करें।