हेमंत सोरेन सरकार झारखण्ड में ओबीसी के अस्तित्व को मिटाने के लिए तत्पर : सतीश कुमार

गढ़वा : झारखण्ड राज्य के 54 प्रतिशत पिछड़ा आवादी के अस्तित्व को समाप्त करने के लिए कोई कसर छोडने के लिए हेमंत सरकार पिछे नही है। पिछडो के बदौलत हेमंत सोरेन सरकार आज सत्ता सुख भोग रही हैं। बिधान सभा चुनाव के पुर्व पुरे झारखण्ड में पिता-पुत्र ने गला फाड़ फाड़कर पिछड़ा वर्ग को गुमराह किया कि हमारी सरकार बनेगी तो पहली कैबिनेट में पिछड़ा वर्ग को आरक्षण दिया जाएगा। मगर कथनी और करनी में फर्क साफ नजर आने लगी। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में ये सरकार ने पिछडा वर्ग के पिठ में छुरा घोपने काम किया 10 हजार लोगों को अपने हक अधिकार से बंचीत करा दिया। बगैर आरक्षण के चुनाव कराकर पिछड़ा वर्ग के अरमान को सरकार ने रौंद डाला।हमारी पार्टी लगातार आरक्षण को लेकर सडक से सदन तक मांग उठाती रही है। पिछले सत्र में हमारे माननिय बिधायक डा0 लम्बोदर महतो ने पुरे सत्र के दौरान बिधान सभा में धरना प्रदर्शन किया। हमारे माननिय सांसद चन्द्र प्रकाश चौधरी ने उच्चतम न्यायालय में याचिका दायर की। सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट राज्य सरकार को निर्देश दिया था कि पिछड़ा वर्ग आयोग का गठन करे व ट्रिपल टेस्ट कराकर रिपोर्ट दे। इस ओर अब तक कोई चर्चा नहीं कर कैबिनेट में नगर निकाय चुनाव बगैर पिछड़ा वर्ग को आरक्षण दिए कराने का प्रस्ताव पारित करा दिया। संबिधान में प्रदत्त अधिकार अनुच्छेद 243 टी व डी आरक्षण संवैधानिक अधिकार को भी दरकिनार कर दिया। महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश सरकार ने ट्रिपल टेस्ट करा कर पिछडा वर्ग के आरक्षण को बचा लिया, बिहार सरकार भी ट्रिपल टेस्ट करा रही है। झारखंड में झामुमो कांग्रेस की सरकार ने 54 प्रतिशत पिछड़ा आवादी को आरक्षण समाप्त कराने के कोई कोर कसर नहीं छोड़ी है। अस्तित्व को ही समाप्त करने की कदम उठाए हैं। जब भ्रष्टाचार मे लिप्त झारखण्ड सरकार के माथे पर काल मंडराने लगा तो आनन फानन में 27 प्रतिशत आरक्षण देने के लिए कैबिनेट में प्रस्ताव पारित किया।
अब इनकी लोक लुभावन नारा – आपकी योजना, आपकी सरकार, आपके द्वार की खुब ढोल पीटी जा रही है। मगर सच्चाई बहुत जल्दी ही सामने आ जाएगी। झारखंडी सरकार की सब योजना भ्रष्टाचार की बलि चढेगी। सुदूरवर्ती इलाकों में आज तक पिने का पानी मुहैय्या नहीं करा पाई है। पेन्शन, पीडीएस का अनाज और आवास कैसे पहुँचेगा गरीबों और जरूरत मंदो तक। पिछड़ा वर्ग के 200 जातियां करवट ले रही है। हेमंत सरकार के पुनः सत्ता में आने का सपना चकनाचूर होगा। अगामी बिधान सभा चुनाव में पिछड़ा वर्ग से वोट मांगने का नैतिक अधिकार खो देगें। अब भी समय है नगर निकाय के चुनाव के अधिसूचना जारी करने के पुर्व पिछड़ा वर्ग आयोग का गठन कर ट्रिपल टेस्ट रिपोर्ट समर्पित करे।
आजसू पार्टी पिछड़ा वर्ग के आरक्षण आवादी अनुरूप देने के लिये संकल्पबद्ध है।

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