प्रत्येक युवा कम से कम दस युवाओं को माहवारी स्वच्छता की जानकारी अवश्य दें: डा. कनीनिका मित्र
रांची: रांची विश्वविद्यालय के राष्ट्रीय सेवा योजना एवं यूनिसेफ , झारखंड के संयुक्त तत्वावधान में आर यू के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के सभागार में विगत एक माह से चलाए जा रहे माहवारी स्वच्छता जागरूकता अभियान का समापन सह सम्मान कार्यक्रम निदेशक डॉ बी पी सिन्हा की अध्यक्षता में आयोजित की गई।
कार्यक्रम की मुख्य वक्ता डा. कनीनिका मित्र, प्रमुख, यूनिसेफ, झारखंड ने अपने संबोधन में कहा कि
माहवारी स्वास्थ्य और स्वच्छता प्रबंधन, सभी लड़कियों और महिलाओं के लिए उपलब्ध होना चाहिए। यह विशेषकर किशोरियों को स्वस्थ एवं सशक्त महिला के रूप में
विकसित होने में मदद करता है। माहवारी स्वच्छता की सुविधा मिलने से लड़कियों एवं महिलाओ के स्वास्थ्य एवं स्वच्छता को
सुनिश्चित करने के साथ-साथ लैंगिक असमानता को दूर करने में भी मदद मिलती है। इसके लिए आवश्यक है कि समाज में भी इसको लेकर एक सकारात्मक वातावरण पैदा किया जाए, ताकि माहवारी स्वास्थ्य से जुड़े सभी मिथकों को समाप्त करके हम सामाजिक समर्थन, जागरूकता और कौशल विकास को बढ़ावा देकर सशक्तिकरण को सुनिश्चित करें ताकि महिलाएं
एवं लड़कियां अपनी पूरी क्षमता को प्राप्त कर सकें तथा स्वस्थ एवं सम्मानजनक जीवन जी सकें।
माहवारी स्वच्छता पर्यावरण संरक्षण के लिए भी महत्वपूर्ण है। स्कूलों में बेहतर स्वच्छता सुविधाएं और सेवाएं जैसे कि
कार्यशील शौचालय, हाथ धोने की सुविधा, साबुन की उपलब्धता, पैड और साबुन बैंकों को बढ़ावा देना
तथा सुविधाओं का संचालन एवं रखरखाव न केवल लड़कियों के स्वास्थ्य और स्वच्छता के लिए
आवश्यक है, बल्कि स्कूलों से लड़कियों की अनुपस्थिति को कम करने के लिए भी महत्वपूर्ण है। माहवारी स्वच्छता को एक मुहिम बनाने की आवश्यकता है। युवाओं एवं छात्रों की भूमिका इसमे काफी महत्वपूर्ण है कि वे जनजागरण अभियान के माध्यम से लोगों को जागरूक करें।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए एन एस एस के कार्यक्रम समन्वयक डॉ ब्रजेश कुमार ने कहा कि माहवारी स्वच्छता पर चुप्पी तोड़ो–स्वस्थ रहो , इसे धरातल पर उतारें एवं इस अभियान का हिस्सा बनकर स्वयं जागरूक बनें एवं दूसरों को भी जागरूक बनें।
माहवारी स्वच्छता विषय पर एन एस एस के स्वयंसेवकों द्वारा प्रभावी नुक्कड़ नाटक का मंचन किया गया एवं नाटक के माध्यम से माहवारी स्वच्छता का संदेश देते हुए बताया कि कैसे गंदगी के कारण एक किशोरी बीमार पड़ती है और अंत में उसकी जान चली जाती है। नुक्कड़ नाटक टीम का नेतृत्व आस्था और नाज ने किया।
कार्यक्रम को आई एल एस के निदेशक डॉ एस एन मिश्रा, यूनिसेफ, झारखंड की संचार पदाधिकारी आस्था अलंग, लक्ष्मी सक्सेना, श्रेया, दिवाकर, पीयूष, क्षणिका आदि ने संबोधित किया।
इस अभियान में विगत एक माह से शामिल विभिन्न कार्यक्रमों में राँची विश्वविद्यालय के 14 महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालय विभागों के 225 एन एस एस के स्वयंसेवकों ने हिस्सा लिया जिन्हें अतिथियों द्वारा प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम का संचालन एन एस एस की आस्था दीप ने किया जबकि धन्यवाद ज्ञापन यूनिसेफ की श्रेया ने किया।
कार्यक्रम को सफल बनाने में एन एस एस के टीम लीडर्स क्रमशः सुरभि, अंकित, रिकेष, पुरषोत्तम, दीक्षा, आकाश, अंश, खुशी, स्वरा, अतुल, रुपाली, अनिता, नवीन आदि का उल्लेखनीय योगदान रहा।
कार्यक्रम के अंत में राष्ट्रगान से समापन किया गया।