कचरा से ‘कंचन’,वेस्ट मैटेरियल से बच्चों ने बनाया नायाब कलाकृति

पटना । बिहार राज्य खादी ग्रामोद्योग बोर्ड,पटना में समर कैम्प का आयोजन किया गया है। जिसमें प्रत्येक दिन प्रतिभागियों को विभिन्न रचनात्मक क्रियाएँ व कौशल का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
समर कैम्प के तीसरे सत्र में बच्चों ने वेस्ट मैटेरियल से नायाब वस्तुएं एवं मार्बल आर्ट बनाने की प्रतिभा सीखी।
जिन वस्तुओं को हम बेकार समझकर फेंक देते हैं। उसे बिहार खादी समर कैम्प में प्रतिभागियों ने सुंदर आकार में बदल कर ‘कचरे से कंचन’ नवाचार का संदेश दिया। आज के दौर में जहां पूरा विश्व वैश्विक तापमान की समस्या झेल रहा है। इस स्थिति में कचरे का सही प्रबंधन बहुत आवश्यक है। खासकर उन कचरों का,जिनका विघटन हमारे पर्यावरण में असंभव है।
बिहार खादी समर कैम्प में बच्चों ने ‘वेस्ट टू वेल्थ’ कार्यशाला में भाग लिया, जहां उन्होंने अपशिष्ट पदार्थों का उपयोग करके कला और शिल्प वस्तुएं बनाकर अपनी रचनात्मकता का प्रदर्शन किया। कार्यशाला का उद्देश्य शहरी क्षेत्रों में अपशिष्ट चुनौती को संबोधित करते हुए पर्यावरण जागरूकता को बढ़ावा देना और मूल्यवान जीवन कौशल विकसित करना है।
प्रशिक्षक रवि प्रकाश ने कहा कि नवाचार जीवनयापन का आधार बन जाए तो इसे कचरा से ‘कंचन’कहते हैं। हमें अपने पर्यावरण को सुरक्षित व संरक्षित रखने हेतु कचरे का उचित प्रबंध बहुत ही आवश्यक है। प्रशिक्षक विशाल कुमार ने साधारण वस्तुएं जैसे न्यूज़पेपर, टिशू पेपर के माध्यम से मार्बल आर्ट जैसी कलाओं से बच्चों को अवगत कराया। उन्हें बनाने की कला का भी प्रशिक्षण दिया।
इस समर कैम्प का मुख्य उद्देश्य बच्चों में विभिन्न कौशल का विकास करना है। यह निःशुल्क समर कैम्प कौशल विकास के बारे में जानने और ग्रामीण शिल्पकारों को उद्यमी बनने के लिए प्रोत्साहित करने का एक सुनहरा अवसर है।

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