छठी जेपीएससी मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा ,क्या बाहर हुए 62 अभ्यर्थियों नौकरी में बहाल किया जा सकता है

रांची। छठी जेपीएससी के संशोधित मेरिट लिस्ट जारी करने के खिलाफ दाखिल एसएलपी पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। जस्टिस अजय रस्तोगी और जस्टिस अभय एस ओका की खंडपीठ ने राज्य सरकार से पूछा है कि क्या संशोधित परिमाण के बाद नए चयनित के साथ-साथ बाहर हुए 62 अभ्यर्थियों नौकरी में बहाल किया जा सकता है।

इसको लेकर सरकार की क्या नीति है। क्या परिणाम के बाद बाहर हुए 62 अभ्यर्थियों को बिना नौकरी से हटाए नए चयनित अभ्यर्थियों को नौकरी देने का सरकार मंशा रखती है। इसकी जानकारी शपथ पत्र के माध्यम से कोर्ट में पेश करना है।

मामले में अगली सुनवाई 27 अप्रैल को होगी।

फिलहाल नौकरी गंवाने वाले अभ्यर्थियों को अभी भी अंतरिम राहत बरकरार है। सुनवाई के दौरान अदालत ने राज्य सरकार और जेपीएससी के अधिवक्ता से पूछा कि क्या ऐसा संभव है कि संशोधित परिणाम के चलते बाहर होने वाले 62 को बिना हटाए हुए हाई कोर्ट के आदेश का पालन किया जा सकता है। अगर राज्य सरकार ऐसी मंशा रखती है कि नए और बाहर हुए अभ्यर्थियों को नौकरी पर रखते हुए नए चयनित अभ्यर्थियों की नियुक्ति की जाए तो अदालत इस मामले को निष्पादित कर सकती है।

अन्यथा अगली सुनवाई की तिथि को अदालत मामले की मेरिट के आधार पर सुनवाई करते हुए अपना निर्णय पारित करेगी।

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