नीतीश कुमार की प्राथमिकता में ही नहीं बिहार और बिहारी: चिराग
पटना : बिहार में इन दिनों हत्याओ के मामले बढ़े हैं.पुलिस विभाग अपराधियों की नकेल कसने में विफल होता दिख रहा है.प्रकार की सरेआम हत्या हो जा रही है. ऐसे में राज्य पर विपक्ष हमलावर है. विपक्ष अपराध के मुद्दे पर लगातार सरकार को घेरने में जुटा है. लोक जन शक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधा है. चिराग पासवान ने कहा कि मुख्यमंत्री कहते हैं कि बिहार में कहां कोई आपराधिक घटना घट रही है. कौन कह रहा है कि बिहार में अपराध है. बिहार में नीतीश कुमार को आपराधिक घटनाएं नहीं दिखेगी. नीतीश कुमार का घ्यान अभी बिहार पर नहीं है, उनका ध्यान तो प्रधानमंत्री बनने और ‘घमंडिया’ गठबंधन पर है.चिराग ने ट्वीट कर सीएम नीतीश पर हमला करते हुए कहा कि मीडिया में बिहार के मुख्यमंत्री जो की गृहमंत्री भी हैं कहते है कि बिहार में कहां कोई आपराधिक घटना घट रही है, कौन कह रहा है कि बिहार में अपराध है. आज भी दो हत्याएं हुई हैं. बिहार में और तो और आपके ही विभाग के अधिकारी प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताते हैं कि पटना में बीते 30 दिनों में 30 हत्याएं हुई हैं. आंकड़े बताते हैं कि बिहार में पिछले 9 महीनों में 2000 से अधिक हत्याएं हुई हैं और 4800 से अधिक आपराधिक मामले सामने आए हैं. बताइए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ये अपराध नहीं तो और क्या है, लेकिन सीएम नीतीश कुमार आपको ये तब न मालूम होगा, जब आपका ध्यान बिहार पर केंद्रित न हो. आपका ध्यान तो प्रधानमंत्री बनने और घमंडिया गठबंधन के संयोजक बनने पर है.’बता दें कुछ दिन पहले ही एक दारोगा और पत्रकार की हत्या हो गई थी. बिहार में अपराध पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि बिहार में अपराध कहां है. आंकड़े देखिए. वहीं, इस पर उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने कहा कि भाजपा बिहार को बदनाम कर रही है. सबसे ज्यादा अपराध दिल्ली में है. इस पर लोजपा (रा) के प्रवक्ता डॉ विनीत सिंह का कहना था कि अररिया में पत्रकार और समस्तीपुर में दरोगा की हत्या की घटाएं हो जा रहीं हैं और मुख्यमंत्री को बिहा्र में अपराध नहीं दिखाई दे रहा ह, तो इससे शर्म की क्या बात होगी. डॉ सिंह ने कहा कि . नीतीश अपराधियों के आगे घुटने टेक चुकी है. पन्नीहोनें कहा कि नीतीश कुमार ने सत्ता में बने रहने के लिए क्राइम, करप्शन और कम्युनलिज्म से समझौता कर लिया है. वे अपराध रोकने की इच्छा-शक्ति खो चुके हैं.