झारखंड की सरकार एक झूठ की ऑटोमैटिक मशीन है : मौर्य

गढ़वा। भ्रष्टाचारियों ने सोचा था कि 2024 में नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री नहीं बनने देंगे, लेकिन जब मोदी प्रधानमंत्री बन गए, तो भ्रष्टाचारी घबराए हुए हैं। वे देशविरोधी ताकतों के साथ हाथ मिला रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अनुच्छेद 370 हटा दिया, तो कांग्रेस कहने लगी कि कश्मीर में आकर 370 को वापस लाकर ‘दो संविधान, दो विधान’ बनाएंगे। यह बातें आज गढ़वा जिले के रंका अनुमंडल मुख्यालय के हाई स्कूल के मैदान में आयोजित परिवर्तन सभा को संबोधित करते हुए उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहीं। उन्होंने कहा कि हेमंत सोरेन के नेतृत्व में चल रही झारखंड की सरकार एक झूठ की ऑटोमैटिक मशीन है। इस सरकार के पांच साल झारखंड की बर्बादी, संगठित लूट, वादा खिलाफी और घुसपैठियों को संरक्षण देने के लिए याद किए जाएंगे।
श्री मौर्य ने कहा कि आगामी विधानसभा चुनाव में बाबूलाल मरांडी के नेतृत्व में बनने वाली सरकार झारखंड में विकास की नई गाथा लिखेगी, जहां समाज के सभी वर्गों और तबकों को सरकार से बिना किसी भेदभाव के लाभ मिलेगा। साथ ही, झारखंड की सबसे बड़ी समस्या बन चुके अवैध घुसपैठियों को बाबूलाल मरांडी ही खदेड़ेंगे और भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश का निर्माण करेंगे।

पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने कहा कि परिवर्तन यात्रा का कार्यक्रम झारखंड को कोयला, लोहा, और जमीन की लूट करने वालों से बचाने और भ्रष्टाचार का नया कीर्तिमान गढ़ने वालों के खिलाफ है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2019 में इसी रंका शहर में हेमंत सोरेन ने मंच से वादा किया था कि वे माता-बहनों को साल में 72 हजार रुपये, चूल्हा खर्च के लिए दो हजार रुपये, बुजुर्गों को ढाई हजार रुपये मासिक पेंशन, और 5 लाख नौजवानों को नौकरी देंगे। लेकिन इन वादों का क्या हुआ? उल्टा, उत्पाद विभाग में सिपाही भर्ती के लिए आयोजित दौड़ में 19 नौजवानों की जान चली गई।
सरकार बनने के बाद हेमंत सोरेन ने विधानसभा में कहा था कि नौकरी न मिलने की स्थिति में नौजवानों को 5,000 रुपये मासिक दिए जाएंगे, लेकिन यह वादा भी अधूरा रहा। झारखंड की भोली-भाली जनता को लॉलीपॉप दिखाकर ठगा गया, मगर अब यह खेल खत्म हो चुका है। भाजपा की सरकार बनने के बाद माता-बहनों को सम्मान, नौजवानों को रोजगार मिलेगा, और भ्रष्टाचारियों को जेल भेजा जाएगा। इसके अलावा, गैरमजरूआ भूमि और भूमि डिजिटाइजेशन की समस्या का भी समाधान किया जाएगा। सरकार बनने के बाद गैरमजरूआ भूमि का पट्टा आदिवासियों और उनके हकदारों को दिया जाएगा।

इस मौके पर पूर्व विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी ने कहा कि झारखंड में आदिवासी और दलित समाज को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि गरीबों, आदिवासियों, पिछड़ों और दलितों की गैरमजरूआ जमीन, जिस पर वे वर्षों से खेती-बाड़ी करते आए हैं, उन्हें अब तक मालिकाना हक नहीं मिल पाया है। जब जमीन का कागज बनाने का समय आया, तो अधिकारियों ने इन गरीबों से संपर्क नहीं किया और राजा-ज़मींदार हजारों एकड़ जमीन के मालिक बन गए। तिवारी ने बाबूलाल मरांडी से मांग की कि अगली भाजपा सरकार में इन गरीबों को उनकी जमीन का मालिकाना हक दिलाने का काम किया जाए।

कार्यक्रम को सांसद बीडी राम, पूर्व विधायक सतेन्द्र नाथ तिवारी, सहाय, और अलखनाथ पाण्डेय ने भी संबोधित किया। कार्यक्रम में मेदिनीनगर विधायक आलोक चौरसिया, राजीव राज तिवारी, मुकेश निरंजन सिन्हा, जवाहर पासवान और मनोज कुमार सिंह समेत कई अन्य भाजपा के वरिष्ठ नेता उपस्थित थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *